जनतंत्र, मध्यप्रदेश, श्रुति घुरैया:
रतलाम जिले में इलाज और धार्मिक प्रार्थना के नाम पर आदिवासी समुदाय के लोगों पर धर्मांतरण का दबाव बनाने का मामला सामने आया है। पुलिस ने इस प्रकरण में चार आरोपियों को गिरफ्तार किया है। इनमें एक आरोपी राजस्थान के बांसवाड़ा का निवासी है, जबकि एक आरोपी रतलाम मेडिकल कॉलेज में नर्सिंग का छात्र है।
इलाज के बहाने बुलाए गए आदिवासी
घटना 5 सितंबर की बताई जा रही है, जब औद्योगिक क्षेत्र के टैंकर रोड पर एक झोपड़ी में आदिवासी महिला और बच्चों की भीड़ जुटी हुई थी। आरोप है कि यहां इलाज और प्रार्थना के बहाने लोगों को बुलाया गया था। इस दौरान झोपड़ी से बाइबल और क्रॉस भी बरामद किए गए।
सूचना मिलने पर हिंदू संगठनों के कार्यकर्ता मौके पर पहुंचे और चार संदिग्धों को पकड़कर पुलिस के हवाले कर दिया। पूछताछ में आरोपियों ने धर्मांतरण कराने की बात स्वीकार की, जिसके बाद शनिवार शाम को उनके खिलाफ मध्यप्रदेश धार्मिक स्वतंत्रता अधिनियम के तहत मामला दर्ज किया गया।
शिकायतकर्ता की आपबीती
विरियाखेड़ी निवासी कैलाश निनामा ने पुलिस को दी शिकायत में कहा कि वह अनुसूचित जनजाति से आते हैं और मजदूरी करते हैं। कुछ महीने पहले स्वास्थ्य खराब होने पर वे इलाज के लिए मेडिकल कॉलेज गए थे। वहां उनकी मुलाकात आरोपी जगदीश निनामा से हुई।
कैलाश के मुताबिक, जगदीश ने कहा कि अगर दवाइयों से फायदा न हो तो वह उनके पास आएं, क्योंकि प्रभु यीशु की प्रार्थना से बीमारी दूर हो जाएगी। इसके बाद कैलाश को कई बार प्रार्थना सभाओं में बुलाया गया।
“बीमारी से छुटकारा पाना है तो ईसाई धर्म अपनाओ”
कैलाश ने आरोप लगाया कि 5 सितंबर को वे जब शिवनगर में विक्रम निनामा के घर पहुंचे तो वहां प्रार्थना की जा रही थी। प्रसाद लेने के बाद आरोपियों ने उन पर ईसाई धर्म अपनाने का दबाव बनाया। उन्होंने कहा कि “अगर बीमारी से छुटकारा पाना है तो नियमित रूप से यीशु की प्रार्थना करनी होगी और ईसाई धर्म स्वीकार करना होगा।”
कैलाश का दावा है कि वहां मौजूद कई महिलाओं और बच्चों को भी इसी तरह प्रार्थना के बहाने धर्मांतरण के लिए तैयार किया जा रहा था। कुछ लोगों की आंखों पर रूमाल बांधकर और सिर पर हाथ रखकर सामूहिक प्रार्थना करवाई जा रही थी।
प्रसाद लेने के बाद बिगड़ी हालत
शिकायत में यह भी कहा गया है कि प्रसाद खाने के बाद उनकी तबीयत बिगड़ गई और मानसिक संतुलन डगमगा गया। इस घटना ने उन्हें संदेह में डाल दिया और बाद में उन्होंने पुलिस में शिकायत दर्ज करवाई।
आरोपियों की गिरफ्तारी
पुलिस ने इस मामले में जगदीश निनामा (गंगासागर), विक्रम निनामा (शिवनगर), मांगीलाल (बांसवाड़ा) और गुड्डू उर्फ गुड्डा (18 वर्ष, शिवगढ़ निवासी) को गिरफ्तार कर लिया है।
जांच में पता चला कि विक्रम मेडिकल कॉलेज में पानी सप्लाई का काम करता है।
हालांकि, चार आरोपियों में से एक नाबालिग की कोई सक्रिय भूमिका सामने न आने के कारण उसे छोड़ दिया गया है। पुलिस ने अन्य तीनों को कोर्ट में पेश कर रिमांड की मांग करने की तैयारी की है।
पुलिस का बयान
औद्योगिक थाना क्षेत्र के सब-इंस्पेक्टर और जांच अधिकारी ध्यानसिंह सोलंकी ने बताया कि मामले की जांच जारी है। शुरूआती जांच में धर्मांतरण की पुष्टि हुई है। आरोपियों के नेटवर्क और अन्य संभावित पीड़ितों की पहचान के लिए पूछताछ की जा रही है।