जनतंत्र, मध्यप्रदेश, श्रुति घुरैया:
क्या आतिशी की भूमिका अब विपक्ष के लिए नई चुनौतियाँ लेकर आएगी? दरअसल, दिल्ली विधानसभा का सत्र शुरू होने से पहले राजधानी में सियासी हलचल और तनाव अपने चरम पर है। रविवार को हुई AAP विधायक दल की बैठक में पूर्व मुख्यमंत्री आतिशी को विपक्ष की नेता चुना गया, और अब सभी की निगाहें इस सियासी बदलाव पर टिकी हुई हैं।
जानकारी के लिए बता दें, रविवार को अरविंद केजरीवाल के नेतृत्व में AAP विधायक दल की बैठक हुई, जिसमें सभी 22 विधायक मौजूद थे, और आप नेता संजीव झा ने आतिशी के नाम का प्रस्ताव रखा, जो पूरी पार्टी ने सहमति से मंज़ूर किया। एक ओर जहां रेखा गुप्ता दिल्ली की मुख्यमंत्री हैं, वहीं दूसरी ओर आतिशी विपक्ष की नेता के रूप में सियासी पारी शुरू करने जा रही हैं। इसी के साथ यह पहली बार है जब दिल्ली विधानसभा में मुख्यमंत्री और नेता विपक्ष दोनों महिलाएं होंगी।
बता दें, दिल्ली विधानसभा का सत्र सोमवार से शुरू होने वाला है। यह सत्र 24 फरवरी से शुरू होकर 27 फरवरी तक चलेगा। पहले दिन नवनिर्वाचित विधायकों को प्रोटेम स्पीकर अरविंदर सिंह लवली शपथ दिलाएंगे। साथ ही इस तीन दिवसीय सत्र में विधानसभा अध्यक्ष-उपाध्यक्ष का चुनाव भी किया जाएगा। हालंकि जब तक विधानसभा अध्यक्ष और उपाध्यक्ष का चुनाव नहीं हो जाता, तब तक अरविंदर सिंह लवली प्रोटेम स्पीकर के तौर पर जिम्मेदारी संभालेंगे। 24 फरवरी को दोपहर 2 बजे विधानसभा स्पीकर का चुनाव किया जाएगा। बता दें, तीन बार के विधायक और तीन बार पार्षद रहे विजेंद्र गुप्ता को भाजपा ने अगला विधानसभा अध्यक्ष नामित किया है।
दिल्ली CM रेखा गुप्ता ने अमित शाह से की मुलाकात
वहीं दूसरी ओर दिल्ली की मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता ने रविवार को अमित शाह से मुलाकात की। जिसके बाद शाह ने अपने X हैंडल पर लिखा, “आज दिल्ली की नव-निर्वाचित मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता जी को नए दायित्व की बधाई एवं शुभकामनाएँ दी। दिल्ली की जनता ने प्रधानमंत्री मोदी जी के नेतृत्व और जनकल्याण की नीतियों पर जो भरोसा दिखाया है, उसे अटूट रखते हुए मुख्यमंत्री के रूप में आपका यह कार्यकाल निश्चित ही दिल्ली को नई ऊँचाइयों तक ले जाएगा और जनता की सभी आशाओं और आकांक्षाओं को पूरा करेगा।” बता दें, इससे पहले शनिवार को रेखा गुप्ता में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और शुक्रवार को राष्ट्रपति और उपराष्ट्रपति से भी मुलाकात की थीं।