जनतंत्र, मध्यप्रदेश, श्रुति घुरैया:
मध्य प्रदेश में इस समय मानसून दोहरी तस्वीर पेश कर रहा है। प्रदेश के कुछ हिस्सों में लगातार बारिश हो रही है तो कई जिलों में तेज धूप और उमस से लोग बेहाल हैं। मौसम विभाग ने गुरुवार को मंडला, डिंडौरी, अनूपपुर और बालाघाट जिलों के लिए भारी बारिश का अलर्ट जारी किया है। अनुमान है कि इन इलाकों में अगले 24 घंटों में ढाई से साढ़े चार इंच तक पानी गिर सकता है।
राजधानी भोपाल में हल्की बारिश की संभावना जताई गई है। वहीं इंदौर, उज्जैन, जबलपुर और ग्वालियर जैसे बड़े शहरों में मौसम में बदलाव देखने को मिलेगा, जहां बादल छाए रहने और रिमझिम फुहारों की संभावना है।
क्यों बदला मौसम का मिज़ाज?
मौसम विभाग के अनुसार, वर्तमान में एक सक्रिय मानसून ट्रफ, डिप्रेशन और साइक्लोनिक सर्कुलेशन मौजूद है। हालांकि, यह सिस्टम मध्य प्रदेश से थोड़ा दूर है। यही वजह है कि पूरे प्रदेश में समान रूप से बारिश नहीं हो रही है। जहां कुछ जिले बारिश से भीग रहे हैं, वहीं अन्य जगहों पर धूप और गर्मी बनी हुई है।
बुधवार को 10 जिलों में दर्ज हुई बारिश
बुधवार को भोपाल सहित 10 से अधिक जिलों में बारिश दर्ज की गई।
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डिंडौरी में झमाझम बारिश ने जनजीवन को प्रभावित किया।
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नर्मदापुरम में लगातार बारिश से तवा डैम छलक उठा।
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बालाघाट के मलाजखंड में एक इंच और छिंदवाड़ा में आधा इंच पानी दर्ज हुआ।
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इसके अलावा भोपाल, पचमढ़ी, खजुराहो और सीधी जैसे जिलों में हल्की वर्षा हुई।
औसत से ज्यादा हुई बारिश
प्रदेश में इस बार मानसून अब तक औसत से ज्यादा बरसा है।
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अब तक 41.6 इंच बारिश दर्ज की जा चुकी है, जबकि इस अवधि तक सामान्यत: 34 इंच पानी गिरना चाहिए था।
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यानी अब तक 7.6 इंच अतिरिक्त बारिश हो चुकी है।
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मध्य प्रदेश की सामान्य औसत बारिश लगभग 37 इंच होती है, जो पिछले सप्ताह ही पूरी हो चुकी है। फिलहाल यह आंकड़ा कोटे से 4.6 इंच ज्यादा है।
किन जिलों में ‘बारिश का कोटा’ पूरा हुआ?
मौसम विभाग के अनुसार, 30 जिलों में सामान्य बारिश का आंकड़ा पार हो चुका है। इनमें भोपाल, राजगढ़, रायसेन, विदिशा, अलीराजपुर, बड़वानी, कटनी, नरसिंहपुर, सिवनी, मंडला, ग्वालियर, शिवपुरी, गुना, अशोकनगर, दतिया, पन्ना, छतरपुर, टीकमगढ़, निवाड़ी, रतलाम, मंदसौर, नीमच, आगर-मालवा, भिंड, मुरैना, श्योपुर, सिंगरौली, सीधी, सतना और उमरिया शामिल हैं।
कुछ जिलों में बारिश सामान्य से दोगुनी हो चुकी है। श्योपुर जिले में अब तक औसत से 213% अधिक पानी गिर चुका है, जो इस मानसून सीजन का सबसे ऊंचा रिकॉर्ड है।
आगे का पूर्वानुमान
मौसम विभाग का अनुमान है कि आने वाले दिनों में मानसून का असर और तेज हो सकता है। हालांकि, यह सिस्टम प्रदेश के कुछ ही हिस्सों में सक्रिय रहेगा। जिन जिलों में बारिश का अलर्ट जारी है, वहां अगले 24 से 48 घंटों तक लोगों को सतर्क रहने की सलाह दी गई है।